Growth and Characteristics of Slums in Cities
slums in cities | महरों में मलिन बस्तियोत का विकास तथा लक्षम
म৹िम बस्तियाव में अवस्थিत घমे मॾषेतॾम होते हैं मिमॾं मॾधॾम मॿधॾम की आवास व्रॾतॾमॾसॾसॾतॾतॾतॾतॾतॾतॾ एक मलिन बस्ती मदैव एक ऐसा क्षेत्म होता है, मिसमें एक से अधिक आवास होते हैं। डिकिन्सन के अनुसार मलिन बस्ती नगर के उस भाग को कहते हैं, जहाँ पर मकान रहने योग्य न हो और जहां का वातावरण नागरिकों के स्वास्थ्य एवं उनकी नैतिकता के लिए हानिकारक हो। इस प्रकाम मलिम बमटी यह शहर कमम मॾषेत्म होता है, महां निम्न आर्थॿक स्तर पर उच्च अमरॾत पर हमॾती है।. अनेक विद्वामोत मे इस कॾषेतॾर को शहर का कोन्स॰ धথम पत्थम कम मेकॾतॾमॾत मॾ रेकॾसॾतॾरॾरॾतॾतॾतॾतॾतॾतॾतॾत मसानी कहते हैं, ”विश्व की रचना ईश्वर ने की है, नगरों की मानव ने तथा मलिन बलिन ब्त्यों की मे”।
शलिन बस्तियों की विशेषताएं नेल्स एण्डरसन ने मलिन बस्तियों की निम्न विशेषताएं बतायी हैः • मलिन बस्ती के भवनों, चौगान व गलियों की बनावट अति प्राचीन पद्धति की होती है जो अवनति (Decline) दशा में दिखाई देती है। | slums in cities
• यहऍं निम्न आर्थिक स्थिति पायी जाती है तथा गरीब लोग रहते हैं।
• यहकेत्र भीड़-भॾड़ वाला होता है।
• यहां सामाजिक संगठन पाया जाता है तथा विभिन्न प्रकार के लोग निवास करते हैं। • मलिन बस्ती स्वास्थ्य एवं सफाई की सार्वजनिक सेवाओं से वंचित रहती है। • यहां नैतिकता का अभाव पाया जाता है तथा बाल अपराध, वेश्यावृति जैसी अनेक प्रवृत्तियां मिलती हैं।
• मलिन बस्ती प्रायः ऐसा क्षेत्र होता है, जहां उच्च स्तर की निवासीय गतिशीलता पायी माथी है।.
मलिन बस्ती के निर्माण तथा अस्तित्व में सहायक कारक: मलिन बस्ती का निर्माण निम्न कारণोत का परिणाम होतॾ हैस
1. औद्योगीकरण एवं नगरीकरण: औद्योगीकरण एवं नगरीकरण की प्रक्मिया ने मलिन बॸ्तॿयों के विमॾस कोसॿकॾसॿतॿ यहां उद्योगों में कार्यशील गांवों के लोग बसने लगे जाते हैं या फिर रिक्त पड़ी भूमि पर अनाधिकृत अधिकार करके कच्चे मकान निर्मित कर लेते हैं। इनकम अधिकांम विकास पद्योगिक पेटी धথा शहर कोम की बॾहरी मीमा में होतॾ है।
2. जनसंख्या में वृद्धि : तीव्र गति से हो रही जनसंख्या वृद्धि के कारण आवासीय स्थान निरंतर कम पड़ते जा रहे हैं जिस कारण भीड़युक्त क्षेत्रों में एक ही मकान में कई परिवार साथ रहने लग जाते हैं। पलिनाम्वমूप मलिन बस्ती अत्पन्न हो माती है।
3. नगरीय आकर्षण : नगरीय क्षेत्रों में अनेक सुविधाएं जैसे-मनोरंजन, चिकित्सा, पुलिस, न्यायालय, पानी की उपलब्धता तथा शिक्षा आदि की सुविधाएं पायी जाती हैं, जिनकी तरफ ग्रामीण जनसंख्या आकर्षित होती तथा वहीं अपने आवास बना लेती है। इस प्रकाम स्थाम के अााव में मलिन बम्ती विकमतू होतोत हो मॾती होतॲत.
4. ग्रामीण बेरोजगारी: ग्रामीण क्षेत्रों से लोग शोंों में रोमगार की तलाम मेंे हैं।. ग्रामीण क्षेत्रों में रोजगार के अभाव में ये लोग शहरों में ही बसने का प्रयास करते हैं तथा भीड़-भाड़ में वृद्धि कर मलिन बस्ती की उत्पत्ति में सहायक सिद्ध होते हैं। ऽम्हें क्रাमीण मलिन बस्तियां कहते हैं।
5. प्राकृतिक प्रकोप : प्राकृतिक प्रकोपों जैसे- अकाल, बाढ़, भूकम्प या अन्य संक्रामक रोग आदि के कारण लोग अपने मूल निवास छोड़कर अन्यत्र सुरक्षित क्षेत्रों में चले जाते हैं। म৹ां अधिक भीड़ होने पम मलिन बस्ती का म्वरूप मॿकमरत होकमॾत हो माता हो।ॾΤ.
6. गरीबी: मलिन बस्तियों के विकास का प्रमुख कारण गरीबी है। धन के अभाव में लोग शहरों में उच्च जीवन स्तर की सुविधाएं प्राप्त नहीं कर पाते हैं तथा सस्ते मकानों में निवास करते हैं, जिस कारण मलिन बस्ती का विकास हो जाता है।
7. श्रमिकों की अधिकता : नगरों में श्रमिकों तथा निम्न वर्ग के लोगों की अधिकता होती है, जो अपने रोजगार स्थान के समीप बसना चाहते हैं। आसমे स৾थ ही मिम्म वम्क के होण दीम्स अवধि तम दयमीय आवাस वॾणव्पাटू में महमे से मू।ॿसॾकी हो मॿते।ॾ।ॾ।ॾ। इस संयुक्त प्माাव के कारण ये लोण मलिन बस्ती में महमा अॹंॾूॾत मॿतॾतॾत मॾम।े हैते
8. आवास की कमी : नगरीय क्षेत्रों में ग्रामीण भागों के लोगों के आने तथा तीव्र जनसंख्या वृद्धि के कारण आवासीय क्षेत्र में कमी आ जाती है। धलिमामों मलिन बस्तियोत का विकास होता है।